Uttar Pradesh Ka 76 Va Jila Kaun Sa Hai
उत्तर प्रदेश का 76वां प्रस्तावित जिला बनने जा रहा है, जिसका नाम “कल्याण सिंह नगर” रखा जा सकता है। यह नाम राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री और राममंदिर आंदोलन के प्रमुख चेहरों में से एक श्री कल्याण सिंह की याद में रखा जाएगा। सरकार का उद्देश्य है कि उनके योगदान को स्थायी रूप से सम्मान दिया जाए।
यह नया जिला अलीगढ़ और बुलंदशहर जिलों के कुछ हिस्सों को मिलाकर बनाया जाने का प्रस्ताव है। जानकारी के अनुसार, इसमें अतरौली, गंगीरी और डिबाई तहसीलें शामिल हो सकती हैं। इससे न केवल प्रशासनिक कार्यों में सुविधा होगी, बल्कि स्थानीय लोगों को सरकारी सेवाएँ नज़दीक मिलेंगी।
सरकार के सूत्रों के मुताबिक, इस जिले के गठन से अलीगढ़ क्षेत्र के ग्रामीण इलाकों का विकास तेज़ होगा और बुनियादी ढांचे में सुधार आएगा। इस पर अंतिम निर्णय मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की स्वीकृति और कैबिनेट की मंजूरी के बाद लिया जाएगा।
यदि सब कुछ नियमानुसार रहा, तो कल्याण सिंह नगर जिला 2025 के अंत तक या 2026 की शुरुआत में औपचारिक रूप से घोषित किया जा सकता है। यह नया जिला न सिर्फ प्रशासनिक दृष्टि से उपयोगी होगा, बल्कि उत्तर प्रदेश के राजनीतिक और ऐतिहासिक मानचित्र में एक नई पहचान भी जोड़ेगा।
76वाँ जिला बनने की प्रक्रिया क्या है?
उत्तर प्रदेश में नया जिला बनाने की प्रक्रिया कई चरणों में पूरी होती है। सबसे पहले सरकार प्रस्ताव (Proposal) तैयार करती है, जिसमें यह बताया जाता है कि नया जिला क्यों जरूरी है — जैसे प्रशासनिक सुविधा, जनसंख्या का बोझ कम करना, या विकास को तेज़ करना। इसके बाद सम्बंधित जिले के जिलाधिकारी (DM) और कमिश्नर से राय ली जाती है कि किन तहसीलों या ब्लॉकों को मिलाकर नया जिला बनाया जा सकता है।
दूसरे चरण में प्रस्ताव को राजस्व विभाग और वित्त विभाग को भेजा जाता है ताकि भूमि, भवन, बजट और कर्मचारियों की व्यवस्था तय की जा सके। यदि सब कुछ सही पाया जाता है, तो फाइल मुख्यमंत्री कार्यालय (CMO) और फिर राज्य कैबिनेट के पास जाती है।
तीसरे चरण में, कैबिनेट की मंजूरी के बाद राज्य सरकार अधिसूचना (Notification) जारी करती है, जिसमें जिले की सीमाएँ, मुख्यालय और जिम्मेदार अधिकारी तय किए जाते हैं। इसके बाद नया जिला आधिकारिक रूप से अस्तित्व में आता है।
अंतिम चरण में नए जिले में डीएम, एसपी, और अन्य प्रशासनिक अधिकारियों की नियुक्ति होती है, कार्यालय स्थापित किए जाते हैं, और पुराने जिलों से राजस्व, पुलिस, शिक्षा आदि विभागों की फाइलें स्थानांतरित की जाती हैं। इस पूरी प्रक्रिया में सामान्यतः छह महीने से एक वर्ष का समय लग सकता है।
कब तक घोषित होगा यूपी का 76वाँ जिला?
उत्तर प्रदेश का अगला यानी 76वाँ जिला बनने की तैयारी चल रही है, जिसका संभावित नाम “कल्याण सिंह नगर” रखा जा सकता है। यह नाम राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री श्री कल्याण सिंह के सम्मान में प्रस्तावित है सरकार के स्तर पर इस प्रस्ताव पर गंभीरता से विचार किया जा रहा है, और इसका नाम “कल्याण सिंह नगर” रखने से क्षेत्र में एक नई पहचान बनेगी। यह केवल प्रशासनिक बदलाव नहीं, बल्कि एक सांस्कृतिक और ऐतिहासिक सम्मान भी होगा। यदि सब कुछ योजना के अनुसार हुआ, तो यह जिला 2025 के अंत या 2026 की शुरुआत में आधिकारिक रूप से अस्तित्व में आ सकता है।

