🔸 20 अक्टूबर 2025, सोमवार — नरक चतुर्दशी (छोटी दीवाली)
- इस दिन नरकासुर पर भगवान कृष्ण की विजय का उत्सव मनाया जाता है, जिसे छोटी दीवाली कहते हैं
- हिन्दू पंचांग अनुसार अमावस्या तिथि का आरंभ यहीं होता है, और शाम के समय छोटी दीपावली मनाई जाती है ।
🔸 21 अक्टूबर 2025, मंगलवार — लक्ष्मी पूजा / मुख्य दिवाली
- इस दिन मुख्य पूजा होती है, जिसे लक्ष्मी पूजन कहा जाता है, जब दीपक, धन और समृद्धि हेतु माँ लक्ष्मी की आराधना की जाती है ।
✅ संक्षेप:
दिनांक | दिन | महत्व |
---|---|---|
20 अक्टूबर 2025 | सोमवार | छोटी दिवाली / नरक चतुर्दशी |
21 अक्टूबर 2025 | मंगलवार | मुख्य दिवाली / लक्ष्मी पूजन |
🪔 दीवाली क्यों मनाई जाती है? (विस्तार से – हिन्दी में)
दीवाली, जिसे दीपावली भी कहा जाता है, भारत का सबसे बड़ा और महत्वपूर्ण त्योहार है। यह अंधकार पर प्रकाश की, असत्य पर सत्य की, और बुराई पर अच्छाई की विजय का प्रतीक है। यह त्योहार कार्तिक मास की अमावस्या को मनाया जाता है। आइए इसके पीछे के पौराणिक और ऐतिहासिक कारणों को समझते हैं:
🔶 1. भगवान श्रीराम की अयोध्या वापसी (रामायण कथा):
- जब भगवान श्रीराम ने रावण का वध किया और 14 वर्षों का वनवास समाप्त कर अयोध्या लौटे, तो अयोध्यावासियों ने उनके स्वागत में दीप जलाए।
- यह दिन अंधकार पर प्रकाश की विजय का प्रतीक बन गया।
- तभी से इस दिन को दीपावली के रूप में मनाया जाने लगा।
🔶 2. माता लक्ष्मी का प्राकट्य (समुद्र मंथन):
- जब देवताओं और असुरों ने समुद्र मंथन किया था, उस समय माँ लक्ष्मी का प्राकट्य हुआ।
- लक्ष्मी देवी धन, वैभव और समृद्धि की देवी हैं। अतः इस दिन उनकी पूजा की जाती है ताकि घर में धन और सुख-शांति बनी रहे।
🔶 3. नरक चतुर्दशी (भगवान कृष्ण द्वारा नरकासुर वध):
- दीवाली से एक दिन पहले नरक चतुर्दशी मनाई जाती है।
- इस दिन भगवान श्रीकृष्ण ने नरकासुर नामक राक्षस का वध किया और 16,000 कन्याओं को मुक्त कराया।
- इस विजय की खुशी में दीप जलाए गए, जिससे यह छोटी दीवाली के रूप में मनाया जाता है।
🔶 4. राजा बलि की कथा (वामन अवतार):
- त्रेता युग में राजा बलि नामक असुरराज ने तीनों लोकों पर अधिकार कर लिया था।
- भगवान विष्णु ने वामन अवतार लेकर राजा बलि से तीन पग भूमि माँगी और तीनों लोक लेकर उसे पाताल भेज दिया।
- लेकिन विष्णु ने वचन दिया कि वह हर साल एक दिन पाताल में राजा बलि के साथ रहेंगे। यही दिन बली प्रतिपदा या गोवर्धन पूजा के रूप में मनाया जाता है।
🔶 5. भाई दूज (भाई-बहन का प्रेम):
- दीवाली के दो दिन बाद भाई दूज आता है।
- इस दिन यमराज अपनी बहन यमुनाजी से मिलने गए थे, जिन्होंने उन्हें प्रेमपूर्वक भोजन कराया।
- तभी से यह दिन भाई-बहन के प्रेम और सुरक्षा के प्रतीक के रूप में मनाया जाता है।
🌟 अन्य धार्मिक एवं सांस्कृतिक महत्व:
- जैन धर्म में: यह दिन भगवान महावीर स्वामी के निर्वाण दिवस के रूप में मनाया जाता है।
- सिख धर्म में: इस दिन गुरु हरगोविंद जी को मुगलों की कैद से मुक्त किया गया था, इसे बंदी छोड़ दिवस के रूप में मनाया जाता है।
🪔 Why Diwali is Celebrated? (In English – Full Details)
Diwali, also called Deepavali, is the Festival of Lights, one of the most important and joyous festivals celebrated across India. It symbolizes the triumph of light over darkness, knowledge over ignorance, and good over evil.
🔶 1. Return of Lord Rama to Ayodhya (Ramayana):
- After defeating Ravana and completing 14 years of exile, Lord Rama returned to Ayodhya.
- People lit lamps to celebrate his homecoming.
- This act of lighting diyas became the symbol of joy and celebration, marking the beginning of Diwali.
🔶 2. Appearance of Goddess Lakshmi (Samudra Manthan):
- During the churning of the ocean (Samudra Manthan), Goddess Lakshmi emerged.
- She is the goddess of wealth, prosperity, and fortune.
- On this day, people worship her to invite blessings into their homes.
🔶 3. Killing of Narakasura by Lord Krishna:
- One day before Diwali, Narak Chaturdashi is celebrated.
- Lord Krishna killed the demon Narakasura and freed 16,000 women.
- This victory symbolizes the defeat of evil and is celebrated with lamps and firecrackers.
🔶 4. King Bali and Vamana Avatar:
- The demon king Bali was known for his power and devotion.
- Lord Vishnu took the form of Vamana and asked him for three steps of land.
- With three steps, he conquered the universe and sent Bali to the underworld.
- However, Vishnu promised to visit him once every year – which is commemorated as Govardhan Puja or Bali Pratipada.
🔶 5. Bhai Dooj – Bond Between Brother and Sister:
- On this day, sisters pray for their brothers’ long life and prosperity.
- It marks the loving bond between siblings, much like Raksha Bandhan.
🌟 Other Religious & Cultural Significance:
- Jainism: Celebrates Mahavira’s attainment of Nirvana on this day.
- Sikhism: Celebrates Bandi Chhor Divas, when Guru Hargobind Ji was released from Mughal captivity along with 52 princes.
🎉 इसलिए मनाई जाती है दीवाली:
दीवाली केवल एक पर्व नहीं, बल्कि एक सांस्कृतिक, धार्मिक और आध्यात्मिक उत्सव है — जो हमें सिखाता है:
“अंधकार चाहे जितना भी हो, एक दीपक उसे मिटा सकता है।”