दोस्तों यह सरकारी स्कूल के हेड मास्टर और बच्चों की अनसुनी कहानी है। दोस्तों सरकारी स्कूल के हेड मास्टर ने एक ऐसा काम कर दिया जिसको सुनकर आपका दिल गदगद हो उठेगा। सरकारी स्कूल के हेड मास्टर की कहानी सुनकर हमें भी इससे प्रेरणा लेनी चाहिए।
सरकारी स्कूल के हेड मास्टर ने कैसा काम किया जिससे उसे स्कूल में पढ़ने वाले छात्र-छात्राओं का दिल गदगद हो गया उनकी आंखें खुशी से नम हो गई ।
दोस्तों यह कहानी एक सरकारी स्कूल के हेड मास्टर किशोर कनासे जी की है जिन्होंने अपनी तनख्वाह में से पैसे इकट्ठे करके सरकारी स्कूल के १९ छात्र-छात्राओं को एरोप्लेन से सफर दिल्ली तक करवाई।
स्कूल के हेड मास्टर किशोर जी का कहना है की सरकारी स्कूल के बच्चे ट्रेन की सफर तक नहीं कर पाते लेकिन हम इसी सोच को बदलने के लिए अपने तनख्वाह में से कुछ पैसे इकट्ठे करके कुछ बच्चों को एरोप्लेन के सफर करवाएंगे।